श्रेयांश सिंह:खैरागढ़
ग्राम पंचायत साल्हेभर्री ने गुरुवार को आयोजित ग्रामसभा में एक ऐतिहासिक और कड़ा फैसला लेते हुए गांव की सीमाओं के भीतर शराब और गांजा की बिक्री व सेवन पर पूर्ण प्रतिबंध लगा दिया। नशामुक्ति की दिशा में उठाए गए इस कदम का गांव के लोगों ने सर्वसम्मति से समर्थन किया और नियम तोड़ने वालों पर भारी-भरकम दंड का प्रावधान किया गया।
50 हजार तक जुर्माना, कड़ी सजा का प्रावधान
ग्रामसभा में तय किया गया कि गांव में यदि कोई व्यक्ति शराब या गांजा बेचते हुए पकड़ा जाता है तो उस पर 50,000 रुपये का जुर्माना लगाया जाएगा। वहीं, खरीदने वालों को भी नहीं छोड़ा जाएगा। ऐसे लोगों से 20,000 रुपये का दंड वसूला जाएगा।
सूचना देने वालों को मिलेगा इनाम
पंचायत ने गांव की निगरानी व्यवस्था भी मजबूत की है। शराब या गांजा बेचने व खरीदने की गतिविधि को विडियो बनाकर पंचायत या पुलिस तक पहुंचाने वालों को 10,000 रुपये का इनाम दिया जाएगा। खास बात यह है कि सूचना देने वाले का नाम पूरी तरह गोपनीय रखा जाएगा।
बाहरी खरीदारों पर भी कार्रवाई
ग्रामसभा में यह भी निर्णय लिया गया कि यदि किसी दूसरे गांव का व्यक्ति साल्हेभरी में शराब या गांजा खरीदते हुए पकड़ा जाता है, तो उस पर भी जुर्माना लगाया जाएगा और उसके खिलाफ पुलिस कार्रवाई होगी।
सार्वजनिक स्थानों पर शराब पीना भी वर्जित
गांव में अब सार्वजनिक स्थानों पर शराब पीने या नशा करने वालों पर सीधे दंड लगाया जाएगा। इसके साथ ही गाली-गलौज करने वालों के लिए भी जुर्माने का प्रावधान रखा गया है।
परिवार पर भी होगी कार्रवाई
पंचायत ने स्पष्ट किया है कि यदि कोई व्यक्ति गांव या घर में शराब पीते पकड़ा जाता है तो केवल वह व्यक्ति ही नहीं बल्कि उसके पूरे परिवार पर सामूहिक रूप से कार्रवाई की जाएगी। इसी तरह शराब बेचने के लिए बाहर से शराब लाने वालों को भी 20,000 रुपये दंड और कानूनी कार्रवाई का सामना करना पड़ेगा।
ग्रामसभा का सर्वसम्मति से निर्णय
गुरुवार को हुई ग्रामसभा में गांव के सभी वार्डों से आए लोगों ने एक स्वर में शराबबंदी को समर्थन दिया। ग्रामीणों ने कहा कि शराब और नशे के कारण परिवारों में कलह, अपराध और बीमारियां बढ़ रही थीं। अब पंचायत के इस कड़े फैसले से गांव में शांति और अनुशासन स्थापित होगा
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